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संपादक प्रवीण सैनी लखनऊ
क्लिक से वार, डेटा से बचाव – डॉ. राजेश्वर सिंह का डिजिटल सतर्कता का संदेश
लखनऊ सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (X) पर साझा एक विचारोत्तेजक पोस्ट में सरोजनीनगर विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह जी ने आधुनिक युग की सबसे गंभीर और अदृश्य चुनौतियों में से एक, ‘साइबर युद्ध (Cyber Wars)’ पर चिंता व्यक्त की।
उन्होंने कहा कि आज की आपस में जुड़ी डिजिटल दुनिया में युद्ध अब केवल सीमाओं पर नहीं, बल्कि कंप्यूटर, कोड और केबल्स के माध्यम से लड़े जा रहे हैं। प्रत्येक स्मार्टफोन, एटीएम, अस्पताल सर्वर और सरकारी डाटाबेस अब संभावित युद्धक्षेत्र बन चुके हैं जिससे साइबर सुरक्षा अब राष्ट्रीय प्राथमिकता बन गई है।
*वैश्विक और राष्ट्रीय परिदृश्य:*
चिंताजनक आँकड़ों का उल्लेख करते हुए डॉ. राजेश्वर सिंह जी ने कहा –
• हर 39 सेकंड में एक साइबर हमला होता है (मैरीलैंड विश्वविद्यालय अध्ययन)।
• भारत में वर्ष 2024 में 22.7 लाख साइबर घटनाएँ दर्ज की गईं (CERT-In, भारत सरकार)।
• एआई आधारित हमले — जैसे डीपफेक, फेक न्यूज़ और फिशिंग — तेज़ी से बढ़ रहे हैं।
• एआईआईएमएस-दिल्ली पर रैनसमवेयर हमला और अमेरिका की कोलोनियल पाइपलाइन हैकिंग घटना इस बात के उदाहरण हैं कि कैसे साइबर हमले पूरे सिस्टम को पंगु बना सकते हैं।
*साइबर युद्ध क्या हैं:*
डॉ. सिंह ने बताया कि साइबर युद्ध वे डिजिटल संघर्ष हैं, जिनमें शत्रु राष्ट्र या संगठित समूह –
• बैंकिंग, स्वास्थ्य, ऊर्जा जैसे आवश्यक क्षेत्रों से डेटा चोरी या सेवाएँ बाधित करते हैं।
• फर्जी सूचनाएँ और प्रचार फैलाकर समाज में भ्रम और विभाजन पैदा करते हैं।
• सरकारी, सैन्य और अनुसंधान नेटवर्कों पर जासूसी के लिए हमला करते हैं।
उन्होंने कहा, “ये युद्ध शांत दिखते हैं, पर अत्यंत विनाशकारी हैं – बिना एक भी गोली चलाए शहरों को ठप कर सकते हैं।”
*युवा पीढ़ी को संदेश:*
भारत की विशाल डिजिटल युवा आबादी को संबोधित करते हुए डॉ. राजेश्वर सिंह जी ने डिजिटल अनुशासन और सतर्कता अपनाने की अपील की। उन्होंने पाँच महत्वपूर्ण सुझाव दिए :
• क्लिक करने से पहले सोचें।
• मजबूत पासवर्ड और दो-स्तरीय प्रमाणीकरण (Two-Factor Authentication) अपनाएँ।
• अपने उपकरणों (Devices) को नियमित रूप से अपडेट करें।
• किसी भी समाचार या वीडियो की सत्यता जांचें — डीपफेक लोगों को भ्रमित कर सकते हैं।
• किसी भी साइबर घटना की रिपोर्ट तुरंत cybercrime.gov.in पर करें।
*सरकार की पहल:*
डॉ. सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी और गृहमंत्री अमित शाह के नेतृत्व में साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में उठाए गए सरकार के निर्णायक कदमों की सराहना की –
• 6 घंटे के भीतर साइबर घटनाओं की अनिवार्य रिपोर्टिंग (CERT-In निर्देश)।
• डिजिटल पर्सनल डेटा प्रोटेक्शन एक्ट, 2023 – नागरिकों की निजता और जवाबदेही सुनिश्चित करने हेतु।
• राष्ट्रीय साइबर सुरक्षा संचालन केंद्रों (Cyber Security Operations Centres) की स्थापना और हजारों साइबर योद्धाओं का प्रशिक्षण।
डॉ. राजेश्वर सिंह ने अपनी बात को समाप्त करते हुए कहा, “साइबर सुरक्षा केवल रक्षा का विषय नहीं है, यह डिजिटल अनुशासन की संस्कृति है।आइए, डिजिटल इंडिया, सुरक्षित इंडिया को केवल नारा नहीं, बल्कि नागरिक जीवन की दैनिक आदत बनाएं ताकि भारत की डिजिटल संप्रभुता सदैव सुरक्षित रहे।”