सरकारी भूमि से अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई सफल, नगर निगम लखनऊ ने 0.173 हेक्टेयर भूमि मुक्त कराई

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यूपी लाइव न्यूज उत्तर प्रदेश

संपादक प्रवीण सैनी

लखनऊ नगर निगम लखनऊ द्वारा सरकारी भूमि को अतिक्रमण मुक्त कराने के लिए चलाया जा रहा अभियान लगातार प्रभावी परिणाम दे रहा है। इसी क्रम में मंगलवार को तहसील सरोजनी नगर के अंतर्गत स्थित ग्राम बिजनौर में नगर निगम की टीम ने बड़ी कार्रवाई करते हुए बेशकीमती भूमि से अवैध कब्जा हटवा दिया। यह पूरी कार्रवाई नगर आयुक्त श्री गौरव कुमार के निर्देशन में और अपर नगर आयुक्त श्री पंकज श्रीवास्तव द्वारा गठित विशेष दल के माध्यम से संपादित कराई गई।

ग्राम बिजनौर की मिनजुमला गाटा संख्या 219, क्षेत्रफल 0.173 हेक्टेयर, जो राजस्व अभिलेखों में ऊसर खाते में दर्ज है और नगर निगम की निहित संपत्ति के रूप में चिन्हित है, लंबे समय से अवैध अतिक्रमण की चपेट में थी। बताया गया कि कुछ लोगों द्वारा इस सरकारी भूमि पर बिना किसी विधिक विभाजन के न केवल सड़क का निर्माण प्रारम्भ कर दिया गया था, बल्कि दूसरी ओर अवैध प्लाटिंग कार्य भी संचालित किया जा रहा था। यह गतिविधि स्पष्ट रूप से सरकारी भूमि को नुकसान पहुँचाने और कब्जाने का प्रयास माना गया।

नगर निगम के अधिकारियों के अनुसार इस स्थान पर पूर्व में भी अवैध कब्जा हटाने की कार्रवाई की गई थी, लेकिन दुबारा अतिक्रमण कर लिया गया। इसलिए इस बार नगर निगम ने सख्त रुख अपनाते हुए बड़ी टीम के साथ मौके पर पहुंचकर अतिक्रमण हटवाने का निर्णय लिया।

कार्रवाई के दौरान पूरे अभियान का संचालन नगर निगम के प्रभारी अधिकारी (संपत्ति) श्री रामेश्वर प्रसाद के निर्देशन में किया गया। इसके लिए तहसीलदार सरोजनी नगर श्री अरविन्द पाण्डेय द्वारा आवश्यक राजस्व टीम भी उपलब्ध कराई गई। इस अभियान का नेतृत्व नगर निगम के नायब तहसीलदार श्री तेजस्वी प्रसाद त्रिपाठी ने किया, जिन्होंने स्थल पर टीम को संगठित करते हुए पूरी प्रक्रिया को शांतिपूर्ण और व्यवस्थित ढंग से संपादित कराया।

अभियान में सहयोग के लिए नगर निगम के लेखपाल श्री अनुपम कुमार तथा अनुचर श्री लालता प्रसाद यादव भी उपस्थित रहे। टीम ने मौके पर मौजूद अवैध निर्माण सामग्री को हटवाया, अनधिकृत रूप से बनी संरचनाओं को ढहवाया तथा भूमि को दुरुस्त कर सरकारी कब्जे में पुनः दर्ज कराया।

नगर निगम के अधिकारियों के अनुसार पूरी कार्रवाई शांतिपूर्ण ढंग से पूरी की गई और किसी प्रकार की अवांछित स्थिति उत्पन्न नहीं हुई। इस अभियान के परिणामस्वरूप कुल 0.173 हेक्टेयर मूल्यवान सरकारी भूमि को पुनः अतिक्रमण मुक्त किया गया। प्रशासन का कहना है कि इस तरह की कार्रवाइयाँ आगे भी जारी रहेंगी और नगर निगम किसी भी कीमत पर सरकारी संपत्तियों पर अवैध कब्जा नहीं होने देगा।

अधिकारियों ने साफ किया कि भविष्य में यदि कोई व्यक्ति इस भूमि पर दोबारा अवैध कब्जा करने का प्रयास करेगा, तो उसके विरुद्ध कड़ी विधिक कार्रवाई की जाएगी।

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